खुद ही देख लें सोनिया और मनमोहन में कौन 'बड़ा'
दो अलग-अलग अखबारों में तीन दिन के अंतर से छपी इन दो दिलचस्प तसवीरों को देखें। पंजाब के एक मंत्रीजी एक चित्र में अपने प्रधानमंत्रीजी के पांव छू रहे हैं और दूसरे में वही मंत्रीजी सोनियाजी के पांव छू रहे हैं। भारतीय राजनीति के नियमों के अनुसार, पांव छुआने वाले व्यक्तियों के राजनैतिक कद की लंबाई, पांव छूने वाले व्यक्ति के हाथों की भूमि से ऊंचाई का व्यत्क्रमानुपाती है। अब तो स्पष्ट हो जाना चाहिए कि बॉस कौन है। (इस पोस्ट में मीडिया के बारे में नहीं, राजनीति के बारे में टिप्पणी है। पाठकगण कृपया अन्यथा न लें)।
4 Comments:
यह राजनीति में पांव क्यों छुए जाते हैं?
क्या सोनिया इतनी बुजुर्ग हैं?
जिनकी रीढ़ ही दूसरों के सामने सीधी न रह पाये वे नेतृत्व क्या करेंगे :(
सही कहा जगदीश जी ने, मंत्री जी सोनिया से कहीं ज्यादा बुजुर्ग हैं, सोनिया के पाँव छूते हुए हास्यास्पद लग रहे हैं। इन नेताओं में आत्मसम्मान नाम की चीज होती ही नहीं क्या ?
राजनीति में प्रवेश से पहले जूते और आत्मसम्मान बाहर रख देना होता है। - हम हैं हमारा
samman dena koi galt bat nahi hai
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